इटवा, सिद्धार्थनगर। “विकलांग व्यक्तियों के सशक्तिकरण विभाग” तथा “सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय भारत सरकार” और “दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग उत्तर प्रदेश सरकार” दिव्यांगजन को सशक्त बनाने तथा सार्वभौमिक पहचान पत्र देने के लिए यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र Unique Disability ID बनवाने की सुविधा दे रही है।
इसके लिए आवेदक आनलाइन आवेदन करके यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र बनवा कर सरकार द्वारा दी जा रही सुविधा का लाभ उठा सकते हैं।
यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र के लाभ-
इसे बनवाने के बाद दिव्यांगजनों को यूनिक आईडी के अतिरिक्त और अन्य कागजात को लेकर नहीं चलने पड़ेंगे। पूरे भारत में आपकी पहचान के लिए यह महत्वपूर्ण दस्तावेज होगा।
इस यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र से पूरे भारत में निशुल्क बस यात्रा कर सकते हैं। इस यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र से सरकार के विभिन्न योजनाओं के लिए पात्र दिव्यांगजनों की पहचान व सत्यापन किया जा सकेगा।
यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र बनवाने में लगने वाले महत्वपूर्ण दस्तावेज-
यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र बनवाने के लिए अभ्यर्थी को निम्न महत्वपूर्ण दस्तावेज प्रस्तुत करना होता है- 1. चिकित्सा प्रमाण पत्र, 2. आधार कार्ड, 3. आय प्रमाण पत्र, 4. फोटो, 5. जाति प्रमाणपत्र, 6. मोबाइल नंबर, 7. शैक्षिक प्रमाण पत्र, 8. रक्त समूह का प्रमाण पत्र देना होगा।
अभ्यर्थी आवेदन कहां करें-
अभ्यार्थी किसी भी जगह से www.swavlambancard.gov.in पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
यह यूनिक दिव्यांग पहचान पत्र लाभार्थी के घर के पते पर डाक से भेजी जाएगी। इसके अलावा जनरेट होने के उपरांत लाभार्थी इसे स्वयं कंप्यूटर से निकाल सकते हैं।
दिव्यांगजन सशक्तिकरण के लिए विभाग की योजनाएं-
दिव्यांगजन के सशक्तिकरण के लिए विभाग निम्नलिखित योजनाएं चला रहा है। आइए जानते हैं कौन-कौन सी योजनाएं हैं-
भरण-पोषण अनुदान-
1. विभाग निराश्रित दिव्यांगजन को भरण-पोषण अनुदान, दिव्यांग पेंशन देता है। इसके तहत रू. 500 प्रतिमाह दिया जाता है। इसके पात्रता में ऐसे दिव्यांगजन शामिल हैं जो 40 प्रतिशत या उससे अधिक दिव्यांग हैं। उनकी आयु 18 से ऊपर हो और उनकी मासिक आय ग्रामीण क्षेत्रों के लिए रू. 46080 तथा शहरी क्षेत्र के लिए रू. 56460 से अधिक नहीं होना चाहिए ।
ऐसे व्यक्ति sspy-up.gov.in पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। प्रमाण के रूप में आय प्रमाण पत्र, दिव्यांग प्रमाण पत्र, आधार, बैंक खाता, कार्यवाही रजिस्टर की फोटो कॉपी लगाना होगा।
कृत्रिम अंग आदि खरीदने तथा मरम्मत कराने के लिए अनुदान-
2. विभाग शारीरिक रूप से अक्षम व्यक्तियों को कृत्रिम अंग तथा श्रवण सहायक यंत्र आदि खरीदने तथा मरम्मत कराने के लिए अनुदान देता है। इसके लिए ऐसे व्यक्ति आवेदन कर सकेंगे जो 40 प्रतिशत या उससे अधिक विकलांग हों।
ग्रामीण क्षेत्रों के लिए रू. 46080 तथा शहरी क्षेत्रों के लिए रू. 56460 से अधिक आय नहीं होनी चाहिए । इसके लिए दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यालय में आवेदन कर सकते हैं।
ध्यान रखें कि जिस योजना की पात्रता में दिव्यांगता का मानक 40 प्रतिशत निर्धारित किया गया है। उसके लिए मुख्य चिकित्सा अधिकारी/सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र/प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के चिकित्सक द्वारा प्रदत दिव्यांग प्रमाण पत्र ही मान्य होगा।
विभाग कुष्ठाअवस्था देता है-
3. कुष्ठ दिव्यांगजनों को विभाग कुष्ठाअवस्था देता है। इसके लिए कुष्ठ रोग अधिकारी/ मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा प्रदत दिव्यांग प्रमाणपत्र मान्य होगा। आयु की कोई सीमा निर्धारित नहीं की गई है। ग्रामीण क्षेत्रों के लिए रू. 46080 तथा शहरी क्षेत्रों के लिए रू. 56460 से अधिक की आमदनी नहीं होनी चाहिए।
इसके लिए रू. 2500 प्रतिमा पेंशन देने का प्राविधान है। इसके लिए sspy-up.gov.in पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन किया जा सकता है। प्रमाण पत्र के रूप में आय प्रमाण पत्र, दिव्यांग प्रमाण पत्र, आधार, बैंक खाता, कार्यवाही रजिस्टर की फोटो कॉपी संलग्न करना होगा।
विवाह करने पर प्रोत्साहन पुरस्कार-
4. विभाग दिव्यांग व्यक्तियों से विवाह करने पर प्रोत्साहन पुरस्कार देता है। ऐसे दिव्यांग व्यक्ति जो 40 प्रतिशत या उससे अधिक दिव्यांग हों। आयु के मानदंड में युवती की आयु 18 वर्ष तथा 45 से अधिक न हो। आमदनी दोनों से कोई आयकर दाता न हो।
दिव्यांगजन के पास पहले से कोई जीवित पति या पत्नी न हो। दंपत्ति में केवल युवती के दिव्य दिव्यांग होने पर रू. 20000, दंपत्ति में केवल युवक के दिव्यांग होने पर रू.15000, दंपत्ति में दोनों के दिव्यांग होने पर रू. 35000 देने का प्रावधान है। इसके लिए आवेदक दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यालय में या http://uphwd.gov.in पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
दुकान चलाने के लिए-
5. दुकान निर्माण या दुकान संचालन की योजना-दुकान निर्माण या दुकान चलाने के लिए विभाग ऐसे दिव्यांगजन को जो 40 प्रतिशत या उससे अधिक दिव्यांग हों और जिनकी आयु 18 से 60 वर्ष के मध्य हो दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यालय में आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए लाभार्थी की आय सीमा पेंशन हेतु निर्धारित आय मान्य होगी।
दुकान चलाने के लिए न्यूनतम 5 वर्ष के लिए किराए पर दुकान अथवा खोखा, गुमटी, हाथ ठेला खरीदने के करने के लिए रू. 10000 की वित्तीय सहायता जिसमें रू. 2500 अनुदान है तथा शेष रू. 7500 ऋण के रूप में दिया जायेगा। जिसपर 4 प्रतिशत साधारण ब्याज अदा करना होगा। आवेदक दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यालय में आवेदन कर सकते हैं।
निशुल्क यात्रा सुविधा-
6. विभाग दिव्यांगजनों को परिवहन निगम की बसों में निशुल्क यात्रा सुविधा प्रदान करता है। इसके तहत राज्य परिवहन निगम द्वारा उत्तर प्रदेश में संचालित साधारण बसों में ही निशुल्क यात्रा सुविधा अनुमन्य है। वायुशीतित, शयनयान, वातानुकूलित तथा वीडियोयुक्त बसों पर यह सुविधा लागू नहीं होगी।
दिव्यांगजन को उत्तर प्रदेश में निशुल्क यात्रा सुविधा उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की बसों में भिक्षावृत्ति से भिन्न प्रयोजन के लिए यात्रा करने पर दी जाएगी। यात्रियों को कोई यात्रा कर नहीं देना होगा। पूरे वित्तीय वर्ष में यात्रा की सुविधा अनुमान है।
इसके अतिरिक्त लाभार्थी योजना से सम्बंधित विशेष जानकारी प्राप्त करने के लिए अपने जिले के जिला दिव्यांगजन सशक्तिकरण अधिकारी से मिल कर जानकारी हासिल कर सकते हैं।